
भारत टैरिफ पर व्हाइट हाउस सलाहकार: संयुक्त राज्य अमेरिका ने रूस के साथ व्यापार करने के लिए भारत पर 50 प्रतिशत टैरिफ और जुर्माना लगाया है। हालांकि, रूस के साथ व्यापार करने वाले कई अन्य देशों के बावजूद, ट्रम्प ने अभी तक उन पर कोई प्रतिबंध नहीं लगाया है। खासतौर पर चीन रूस से क्रूड समेत सामान भी खरीद रहा है। हालांकि उनके खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं करने के सवाल पर व्हाइट हाउस ने सफाई दी है।
व्हाइट हाउस के व्यापार सलाहकार पीटर नवारो ने एक मीडिया साक्षात्कार में कहा कि अमेरिका रूस से कच्चा तेल खरीदने के लिए चीन पर अतिरिक्त शुल्क लगाने की जल्दबाजी में नहीं होगा। क्योंकि हम वास्तव में हमें नुकसान नहीं पहुंचाना चाहते हैं। चीन में पहले से ही कई सामानों पर 50 फीसदी टैरिफ लगा हुआ है। नवारो के बयान से ट्रंप के इस पोल का पर्दाफाश हो गया है कि वह चीन के साथ टैरिफ वॉर नहीं चाहते।
नवारो ने आगे कहा कि वाशिंगटन रूस के साथ चीन के ऊर्जा संबंधों की निगरानी कर रहा है। हम वर्तमान में इंतजार कर रहे हैं, तत्काल कोई कार्रवाई करने की कोई योजना नहीं है। एक तरफ अमेरिका रूस के साथ व्यापार करने वाले देशों पर टैरिफ और पेनाल्टी लगा रहा है तो दूसरी तरफ वह रूसी राष्ट्रपति पुतिन के साथ बैठक कर मामले को सुलझाने की कोशिश कर रहा है। अमेरिका ने अमेरिका के विशेष व्यापार दूत स्टीव विटकॉफ और रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के बीच हाल में हुई मुलाकात को सकारात्मक बताया है। विटकॉफ-पुतिन की मुलाकात के बाद अमेरिका ने भारत पर 25 फीसदी टैरिफ लगा दिया है। हालांकि, चीन पर टैरिफ नहीं लगाए गए हैं।
इसके अलावा व्यापार सलाहकार पीटर नवारो ने भारत की व्यापारिक गतिविधियों की आलोचना की है और देश को ‘टैरिफ का महाराजा’ कहा है। उन्होंने भारत पर टैरिफ लगाने के अमेरिकी सरकार के फैसले को सही ठहराया। दूसरी ओर, भारत ने अमरीका के शुल्क उपायों को अनुचित, अनुचित और अन्यायपूर्ण बताया है। भारत अपने डेयरी और कृषि क्षेत्र के हितों से समझौता नहीं करेगा।